यह रोग चूषक कीट जैसे मिलीबग,सफेद मक्खी आदि के मधु रस अथवा विष्टा से उत्पन्न होता है|
लक्षण
पत्तियों पर काला अथवा स्लेटी चिकना लेप जैसा दिखाई देता है, जो धीरे-धीरे पूरे वृक्ष की पत्तियों पर विद्यमान हो जाता है ग्रसित पत्तियां सिकुड़ कर मुड़ कर गिर जाती है|
प्रबंधन
- बीमारी से बचाव के लिए मैन्कोजेब फफूंदनाशी 1 ग्राम प्रति लीटर पानी में घोल कर स्प्रे करना चाहिए|
- चूषक कीट इस रोग के मुख्य कारण हैं इसलिए उन्हें नियंत्रित करना आवश्यक है, इसके लिए इमिडाक्लोप्रिड 1 मि .ली. प्रति लीटर पानी में घोल कर स्प्रे करना चाहिए|